लखनऊ, 30 अप्रैल: कोविड संक्रमण को हराकर स्वस्थ होते ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कोविड प्रबंधन को लेकर एक बड़ा फैसला किया गया है,
सीएम के ताजा निर्देश के मुताबिक प्रदेश में कोविड प्रबंधन के लिए एक खास टीम-09 का गठन किया है।
यह टीम-09 अब तक एक्टिव रही बहुप्रशंसित टीम-11 की तर्ज पर गठित की गई है, जो न केवल कोविड प्रबंधन के लिए नीति बनाएगी, बल्कि धरातल पर उसके प्रभावी क्रियान्वयन और मॉनिटरिंग के प्रति भी जवाबदेह होगी।
नवगठित CM टीम-09 दरअसल 09 अलग-अलग समितियां हैं। जिसमें अन्य वरिष्ठ अधिकारियों को भी शामिल किया गया है।
टीम में दो कैबिबेट मंत्रियों को भी जगह दी गई है। इसके अलावा, मुख्य सचिव सहित 07 वरिष्ठ अधिकारियों को जगह दी गई है।
सीएम टीम-9 को अलग-अलग जिम्मेदारी दी गई है। मुख्यमंत्री के यह नवरत्न सीधे सीएम को ही रिपोर्ट करेंगे।
शुक्रवार को कोविड निगेटिव रिपोर्ट आने के साथ ही सीएम ने इस नई टीम के साथ बैठक की।
बैठक में मुख्यमंत्री ने कहा कि अब तक लड़ाई में हमारी टीम-11 ने बहुत अच्छा प्रदर्शन किया। टीम वर्क का ही परिणाम है कि कोविड की पिछली लहर में उत्तर प्रदेश सुरक्षित रहा।
बदलती परिस्थितियों के दृष्टिगत एक नई सीएम टीम-9 का गठन किया गया है।09 वरिष्ठ अधिकारियों की यह टीम राज्य स्तर पर कोविड प्रबंधन से जुड़े कार्यों को देखेगी। उन्होंने कहा कि आपदा की इस घड़ी में हम सभी जनहित में अपना सर्वश्रेष्ठ योगदान देना सुनिश्चित करें।
सीएम टीम-9 अब 24×7 एक्टिव रहेंगे योगी के नवरत्न
1- सुरेश खन्ना, चिकित्सा शिक्षा मंत्री- कोविड अस्पतालों में सुचारु व्यवस्था सुनिश्चित।
सरकारी एवं निजी चिकित्सालयों में ऑक्सीजन, बेड की उपलब्धता, मैन पावर की व्यवस्था, टीकाकरण अभियान के सुचारु क्रियान्वयन की जिम्मेदारी, सभी मेडिकल कॉलेज, जिला अस्पताल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में सुचारु व्यवस्था बनाये रखना।
(इस समिति में चिकित्सा शिक्षा राज्य मंत्री सन्दीप सिंह, एसीएस स्वास्थ्य और प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा शामिल होंगे)
2- जय प्रताप सिंह, स्वास्थ्य मंत्री- एम्बुलेंस सेवाओं, इंटीग्रेटेड कंट्रोल एंड कमांड सेंटर के उद्देश्यपरक क्रियान्वयन, जीवनरक्षक दवाओं की आपूर्ति-वितरण, होम क्वारन्टीन व्यवस्था और मेडिकल किट की उपलब्ध कराने की व्यवस्था की समीक्षा।
( इस समिति में स्वास्थ्य राज्य मंत्री अतुल गर्ग, एसीएस स्वास्थ्य, राहत आयुक्त भी शामिल होंगे)
3- मुख्य सचिव- भारत सरकार एवं अन्य राज्य सरकारों से आवश्यकतानुसार समन्वय, अंतर्विभागीय समन्वय स्थापित करना।
(इस समिति में एसीएस गृह, एसीएस स्वास्थ्य व एसीएस चिकित्सा शिक्षा शामिल होंगे)
4- औद्योगिक अवस्थापना आयुक्त- प्रदेश में औद्योगिक गतिविधियों के सुगमतापूर्वक क्रियान्वयन, कोविड हेल्प डेस्क, औद्योगिक और व्यावसायिक इकाइयों में कार्मिकों/श्रमिकों को समय से वेतन भुगतान सुनिश्चित कराना।
(इस समिति में एसीएस औद्योगिक अवस्थापना, एसीएस एमएसएमई, एसीएस श्रम एवं सेवायोजन)
5- कृषि उत्पादन आयुक्त- गेहूं क्रय प्रक्रिया के सफल क्रियान्वयन, किसानों को समय से खाद-बीज आदि की उपलब्धता सुनिश्चित कराना,
गो-आश्रय स्थलों में पशुचारे की व्यवस्था कराना, आम जनमानस को आवश्यक सामग्री की उपलब्धता उचित दर पर होना सुनिश्चित कराना।
(इस समिति में एसीएस कृषि, एसीएस चीनी एवं गन्ना विकास, प्रमुख सचिव परिवहन, प्रमुख सचिव खाद्य, प्रमुख सचिव दुग्ध विकास, निदेशक मंडी शामिल होंगे)
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6- अपर मुख्य सचिव, गृह-प्रदेश में समय पर समुचित ऑक्सीजन की उपलब्धता सुनिश्चित कराना। इस हेतु भारत सरकार, अन्य राज्यों, आपूर्तिकर्ताओं, ट्रांसपोर्टरों से समन्वय बनाना।
(इस समिति में प्रमुख सचिव खाद्य एवं औषधि सुरक्षा प्रशासन, प्रमुख सचिव परिवहन, एडीजी एलओ/पीएसी)
7-अपर मुख्य सचिव, राजस्व-प्रवासी कामगारों के प्रदेश आने पर उनकी समुचित जांच और क्वारन्टीन व्यवस्था के सुव्यवस्थित संचालन
(इस समिति में राहत आयुक्त और सचिव गृह शामिल होंगे)
8-पुलिस महानिदेशक- कोरोना कर्फ्यू, साप्ताहिक बन्दी और कंटेनमेंट ज़ोन की व्यवस्था को प्रभावी ढंग से लागू कराना, मास्क की अनिवार्यता को सुनिश्चित कराना, पुलिसकर्मियों/ जेलकर्मियों/ जेल बंदियों की सुरक्षा सुनिश्चित कराना।
(इस समिति में डीजी कारागार/ट्रेनिंग, एडीजी एलओ और पीएसी शामिल होंगे)
9-अपर मुख्य सचिव ग्राम्य विकास एवं पंचायती राज- प्रदेश में व्यापक स्वच्छता और सैनिताइजेशन, निगरानी समितियों की मॉनिटरिंग, पब्लिक एड्रेस सिस्टम को प्रभावी बनाना, पेयजल की उपलब्धता सुनिश्चित कराना।
(इस समिति में एसीएस नगर विकास, निदेशक पंचायती राज, एमडी जल निगम शामिल होंगे)